जय भीम – जय सतनाम

गर्व और आनंद का अवसर है कि गुरु घासीदास केंद्रीय विश्वविद्यालय, बिलासपुर में 15 जनवरी 2025 को 11वें दीक्षांत समाहरो के मुख्य अतिथि महामहिम श्री जगदीप धनखड़ भारत गणराज्य के उपराष्ट्रपति, विशिष्ट अतिथि रमेन डेका राज्यपाल छत्तीसगढ़, विष्णुदेव साय मुख्यमंत्री छत्तीसगढ़, प्रोफेसर आलोक कुमार चक्रवाल कुलपति की उपस्थिति में मैंने सामाजिक विज्ञान विद्यापीठ के अंतर्गत इतिहास विभाग से अपना शोधकार्य “छत्तीसगढ़ में अनुसूचित संचेतना में अंबेडकरवाद का प्रभाव : 1947 से 2000 तक जांजगीर चांपा जिले के विशेष संदर्भ” में इस विषय पर मुझे पीएचडी की उपाधि प्रदान किया गया।

आप इस यात्रा में सदा मेरे साथ खड़े रहने, मेरा मार्गदर्शन करने और हर मुश्किल समय में मेरा हौसला बढ़ाने के लिए मैं आपका सहृदय से धन्यवाद करता हूँ।

आप ने मुझे तन मन धन से सहयोग और समर्थन दिया है, वह इस उपलब्धि का सबसे बड़ा आधार है। आपके अनुभव और ज्ञान व मार्गदर्शन से ही मुझे सही दिशा मिला। नहीं तो इस मनुवादी व्यवस्था से आज तक न जाने कितने लोगों ने संघर्ष किया। लेकिन सफलता हाथ नहीं लगा। वे भले जीते नहीं लेकिन सीखें ज़रूर। शायद हमें भी जीत न मिलता, इसका मतलब यह नहीं कि हम अपने हक के लिए आवाज़ भी न उठाएं। आप ने मुझे प्रेरित किया और हर कदम पर साथ दिया। आपके मार्गदर्शन में हमने अन्याय के खिलाफ आवाज़ उठाएं, और जीत भी मिला। यह जीत भी आपका हैं, नहीं तो यह संभव ही नहीं था। इस सफलता के लिए मुझे सहयोग करने के लिए तहेदिल से धन्यवाद ज्ञापित करता हूँ।

यह सफलता अकेले मेरी नहीं है, बल्कि आपकी मेहनत, आशीर्वाद और प्रोत्साहन का परिणाम है। आपके सहयोग बिना यह संभव नहीं हो पाता। एक बार फिर, मेरी इस उपलब्धि में योगदान देने के लिए मैं दिल से धन्यवाद प्रेषित करता हूँ.! आपके समर्थन के लिए मैं सदैव आभारी रहूँगा।

आपका
डॉ. गणेश कुमार कोशले
जांजगीर-चांपा (छत्तीसगढ़)

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