बिलासपुर। प्रतिवर्ष की भांति इस वर्ष भी श्री अनुरागी धाम समिति मोतिमपुर (सरगाँव) जिला मुंगेली में संत शिरोमणि सच्चिदानंद सदगुरु स्वामी अनुरागी जी के स्नेहांचल में मर्यादा पुरुषोत्तम भगवान के स्नेह अमृत श्रवण हेतु अखण्ड नवधा रामायण समारोह का आयोजन किया जा रहा है। 29 दिसम्बर 2024, शुक्रवार शाम से शुरू नवधा रामायण 7 जनवरी मंगलवार को हवन, सहस्त्रधारा (कन्या भोज) और विशाल भंडारे के साथ इसका समापन होगा।
सोमवार की शाम को अनुरागी धाम में भव्य कलश यात्रा निकाली गई जिसमें आसपास के कई गांव की कन्याएं शामिल हुई।

शिवनाथ और खारुन नदी के संगम से नदी का जल लेकर गाजे बाजे के साथ कन्याएं कथा स्थल पहुंची। इस दौरान बड़ी संख्या में ब्रह्मलीन बाबा अनुरागी जी के अनुयायी मौजूद रहे। प्रतिदिन यहां दूरदराज से आई हुई मानस मंडलियों द्वारा नवधा रामायण का वाचन किया जा रहा है। बड़ी संख्या में यहां श्रद्धालु पहुंचकर इस रामायण पाठ का श्रवण कर रहे हैं। अखंड नवधा रामायण समारोह मानस यज्ञ का यह 19वां वर्ष है जिसमें हर बार की तरह इस बार भी न सिर्फ छत्तीसगढ़,मध्य प्रदेश,उत्तरप्रदेश बल्कि अलग-अलग राज्यों में फैले उनके अनुयायी यहां बड़ी संख्या में उमड़ते हैं। वर्षों से विदेश में रह रहे श्रद्धालु भी इस मौके पर इस दिन यहां पहुंचकर अपनी आस्था बाबा के प्रति प्रकट करते हैं।

लौकिक,अलौकिक प्रभा के अक्षय स्त्रोत “स्वामी अनुरागी जी”

इस धरती पर देवीय कृपा से जब दुर्लभ संयोग घटित होता है तब ऐसी दिव्य आत्मा जन्म लेती है कि जिनके प्रताप से आस-पास का संसार आलोकित हो उठता है, न जाने कितने जीवनों का अंधकार दूर हो जाता है, उनके जीवन में गुरुकृपा से चेतना का प्रवाह कल-कल करता हुआ नित्य प्रवाहित होने लगता है उन्हें जीवन और जगत की सार्थकता प्राप्त हो जाती है।


ऐसी ही दिव्य आत्मा ने स्वामी अनुरागी जी के रूप में 2 जनवरी 1915 दिन शनिवार, विक्रम संवत 1917 माह पौष कृष्ण पक्ष (प्रथमा) में अवतरण किया था और वे 6 जनवरी 2007 दिन शनिवार विक्रम संवत 2063 माह माघ कृष्ण पक्ष (चतुर्थी) को ब्रम्हलीन हुये।


अपने अलौकिक जीवन के 92 वर्ष में स्वामी अनुरागी जी ने अपने जप-तप और तंत्र साधना से प्रभा और कृपा का ऐसा स्त्रोत जगाया कि मनुष्य जाति को उनका प्रसाद सदैव प्राप्त होता रहेगा।

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