
तखतपुर पुलिस ने शासकीय नौकरी दिलाने के नाम पर 43 लाख की ठगी के गंभीर मामले में तीन आरोपियों को गिरफ्तार कर बड़ी कार्रवाई की है। इस मामले में खास बात यह है कि न सिर्फ ठगी करने वालों को, बल्कि नौकरी पाने के लिए अवैध रूप से पैसा देने वाले को भी गिरफ्तार किया गया है। यह कार्रवाई वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक बिलासपुर रजनेश सिंह के निर्देशानुसार की गई। मामला थाना तखतपुर क्षेत्र का है, जहां यह पहली बार हुआ है कि नौकरी दिलाने की दलाली के साथ-साथ नौकरी “खरीदने” का प्रयास करने वाले व्यक्ति को भी दोषी माना गया।
गिरफ्तार किए गए आरोपी किस प्रकार है
1. विष्णु प्रसाद राजपूत निवासी ग्राम निगारबंद, थाना तखतपुर
2. सीमा सोनी निवासी विनोबा नगर, थाना सिविल लाइन
3. सूर्यकांत जायसवाल निवासी बरेला, थाना जरहागांव, हाल-नेचर सिटी, थाना सकरी

आवेदक सूर्यकांत जायसवाल ने अपने दो पुत्रों और एक पुत्री को खाद्य निरीक्षक, हॉस्टल अधीक्षक और पटवारी जैसे पदों पर नियुक्त कराने के लिए 8 फरवरी 2022 से 5 जून 2023 के बीच 43 लाख रुपये आरोपियों को विभिन्न किश्तों में दिए।
शिकायत की जांच अनुविभागीय अधिकारी (पुलिस) कोटा के माध्यम से कराई गई, जिसमें पाया गया कि शिकायतकर्ता ने भी नियमानुसार चयन प्रक्रिया को दरकिनार कर शासकीय सेवा के पद को अवैध तरीके से प्राप्त करने का प्रयास किया। इस प्रकरण में यह स्पष्ट रूप से उजागर हुआ कि इससे न केवल शासन के साथ धोखा हुआ, बल्कि उन हजारों ईमानदार प्रतियोगियों के साथ भी अन्याय हुआ जो परीक्षा में भाग लेकर चयन की वैध प्रक्रिया का पालन करते हैं।
अन्य आरोपी पहले से जेल में
मामले का एक अन्य आरोपी जावेद खान उर्फ राजा (31 वर्ष), थाना सिविल लाइन के अपराध क्रमांक 355/25 के तहत धारा 420 में 3 अप्रैल 2025 से न्यायिक हिरासत में है। इस पूरी कार्रवाई को अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक ग्रामीण अर्चना झा एवं अनुविभागीय अधिकारी (पुलिस) कोटा भारती मरकाम के मार्गदर्शन में अंजाम दिया गया।
पुलिस प्रशासन की स्पष्ट चेतावनी
“शासकीय नौकरी के नाम पर ठगी करने वाले और उसका लाभ लेने वाले दोनों ही अब कानून के दायरे में लाए जाएंगे।”